भारत डिस्कव्हरी-अंग्रेज़

Started by Atul Kaviraje, February 26, 2023, 10:13:33 PM

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Atul Kaviraje

                                   "भारत डिस्कव्हरी"
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मित्रो,

     "भारत डिस्कव्हरी" विषया-अंतर्गत, आज पढेंगे "इतिहास-कोश" इस श्रेणी-अंतर्गत एक इतिहास लेख. इस लेख का शीर्षक है- अंग्रेज़.

                                        "अंग्रेज़"
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अंग्रेज़--
अंग्रेज़ गवर्नर-रॉबर्ट क्लाइव
विवरण-'अंग्रेज़' इंग्लैण्ड मूल के अंग्रेज़ी भाषी लोगों को कहा जाता है। साफ रंग, भूरे बाल और सफ़ेद व गोरी चमड़ी के कारण इन्हें प्राय: 'गोरे लोग' भी कहा जाता है।
कुल जनसंख्या-100 मिलियन (विश्वभर)
मुख्य निवास क्षेत्र-संयुक्त राजशाही इंग्लैण्ड और वेल्स - 37.6 मिलियन
संयुक्त राज्य - 25 मिलियन
ऑस्ट्रेलिया - 7.2 मिलियन
कनाडा - 6.6 मिलियन
दक्षिण अफ़्रीका - 1.6 मिलियन
न्यूजीलैण्ड - 44,000–282,000
मुख्य भाषा-अंग्रेज़ी
संबंधित लेख-ईस्ट इण्डिया कम्पनी, भारत में गवर्नर-जनरल
अन्य जानकारी-पुराने समय से अंग्रेज़ ग्रेट ब्रिटेन के अन्य भागों में और उत्तरी आयरलैण्ड में बसने लगे थे, लेकिन उस समय उनकी संख्या का अनुमान नहीं लगाया जा सकता था, क्योंकि ब्रितानी जनगणना में ऐतिहासिक रूप से इस तरह का ध्यान नहीं रखा जाता था।
ब्रिटेन में रहने वाले निवासियों को अंग्रेज़ कहा जाता है। इनका रंग साफ, बाल भूरे व सफ़ेद और चमड़ी गोरी होती है, इसीलिए इन्हें प्राय: 'गोरे लोग' भी कहा जाता है। काफ़ी पुराने समय से अंग्रेज़ लोग ग्रेट ब्रिटेन के अन्य भागों में और उत्तरी आयरलैण्ड में बसने लगे थे, लेकिन उनकी संख्या का अनुमान नहीं लगाया जा सकता, क्योंकि ब्रितानी जनगणना में ऐतिहासिक रूप से इस तरह का ध्यान नहीं रखा जाता था। भारत के इतिहास में अंग्रेज़ों का बहुत ही महत्त्वपूर्ण स्थान रहा है। भारतीय इतिहास के ना जाने कितने ही अध्याय अंग्रेज़ों की कूटनीति, धोखेबाज़ी और लालची गतिविधियों से भरे पड़े हैं। ब्रिटेन के सम्राट 'जेम्स प्रथम' ने पहले 1608 ई. में हॉकिन्स को और फिर 1616 ई. में टॉमस रो को जहाँगीर के दरबार में अपना राजदूत बनाकर भेजा था। अजमेर के क़िले में टॉमस रो ने मुग़ल सम्राट जहाँगीर के सामने खड़े होकर एक याचक के रूप में भारत में व्यापार करने की अनुमति माँगी थी। जहाँगीर से टॉमस रो का व्यापारिक समझौता तो नहीं हो सका, किंतु उस समय गुजरात के सूबेदार 'ख़ुर्रम' (बाद में शाहजहाँ) ने उसे व्यापारिक कोठियाँ खोलने के लिए फ़रमान दे दिया था। उसी दिन से भारत की ग़ुलामी की इबारत लिख दी गई।
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                    भारत में प्रवेश--

     इंग्लैण्ड की रानी एलिजाबेथ प्रथम के समय में 31 दिसम्बर, 1600 को भारत में 'दि गर्वनर एण्ड कम्पनी ऑफ़ लन्दल ट्रेडिंग इन्टू दि ईस्ट इंडीज' अर्थात् 'ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कम्पनी' की स्थापना हुई। इस कम्पनी की स्थापना से पूर्व महारानी एलिजाबेथ ने पूर्व देशों से व्यापार करने के लिए चार्टर तथा एकाधिकार प्रदान किया। प्रारम्भ में यह अधिकार मात्र 15 वर्ष के लिए मिला था, किन्तु कालान्तर में इसे 20-20 वर्षों के लिए बढ़ाया जाने लगा। ईस्ट इंडिया कम्पनी में उस समय कुल क़रीब 217 साझीदार थे। कम्पनी का आरम्भिक उद्देश्य भू-भाग नहीं, बल्कि व्यापार था।

--भारत डिस्कव्हरी
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                     (साभार एवं सौजन्य-संदर्भ-भारत डिस्कव्हरी.org)
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-----संकलन
-----श्री.अतुल एस.परब(अतुल कवीराजे)
-----दिनांक-26.02.2023-रविवार.
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