"जहाँ मिलकर हाथ बढ़ाए जाएं, वहीं परिवर्तन आकार पाएं..."🎗️🧑‍🤝‍🧑🌱📚❤️🏥🌾

Started by Atul Kaviraje, May 15, 2025, 10:28:26 PM

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Atul Kaviraje

🤝🌍 हिंदी कविता-

सामाजिक संगठनों की भूमिका
"जहाँ मिलकर हाथ बढ़ाए जाएं, वहीं परिवर्तन आकार पाएं..."
📅 समर्पित सामाजिक सेवा को
🎗�🧑�🤝�🧑🌱📚❤️🏥🌾

🧭 कविता का परिचय:
सामाजिक संगठन समाज के हर उस कोने में रोशनी पहुँचाते हैं जहाँ सरकार या व्यक्ति अकेले नहीं पहुँच पाते। ये संगठन सहयोग, सेवा और सुधार के तीन प्रमुख आधारों पर समाज को सशक्त बनाते हैं।
यह कविता उनके भूमिका, महत्व और प्रेरणा को सात सरल चरणों में प्रस्तुत करती है – अर्थ, प्रतीक और भावनाओं सहित।

🤝 प्रथम चरण
जहाँ न पहुँचे शासन-धारा,
वहाँ उठे समाज की ध्वारा।
हर जरूरत, हर एक दुख,
संगठन बनें उम्मीद का सुख।

🔸 अर्थ:
जहाँ सरकारी सहायता नहीं पहुँच पाती, वहाँ सामाजिक संगठन समाज की जरूरतें पूरी करते हैं और आशा की किरण बनते हैं।

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🌱 द्वितीय चरण
कभी हो अनपढ़ता की पीड़ा,
या भूख की लंबी श्रृंखला सी सीधा।
संगठन वहाँ शिक्षा बोएं,
भूख को सेवा से ढके।

🔸 अर्थ:
शिक्षा, स्वास्थ्य, भूख मिटाने जैसे क्षेत्रों में सामाजिक संगठन महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं और जनसेवा का भाव दिखाते हैं।

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🏥 तृतीय चरण
स्वास्थ्य शिविर, रक्त दान,
आपदा में राहत का स्थान।
जहाँ संकट की हो दीवार,
संगठन बने जीवन आधार।

🔸 अर्थ:
आपदा, बीमारियों और स्वास्थ्य संकट में सामाजिक संगठन तुरंत सक्रिय होते हैं और सहायता पहुँचाते हैं।

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👩�👦 चतुर्थ चरण
नारी हो या हो वृद्ध अकेला,
विकलांगता हो या कोई झमेला।
संगठन दे सहारा ठोस,
सम्मान से जीने का जोश।

🔸 अर्थ:
संगठन समाज के हर वर्ग – महिलाओं, बुजुर्गों, विकलांगों – को समानता और सम्मान से जीने का हक दिलाते हैं।

👵🧓♿👩�👧🤲

🧑�🏫 पंचम चरण
बस्ती, गाँव या शहर की गली,
बदलाव लाएं कदम से चली।
बाल-श्रम, नशा या भ्रष्टाचार,
संगठन बनें सुधार के द्वार।

🔸 अर्थ:
सामाजिक कुरीतियों को हटाने और लोगों में चेतना फैलाने का कार्य सामाजिक संगठनों द्वारा किया जाता है।

🚫👶🚭⚖️🏘�

🌍 षष्ठम चरण
वृक्षारोपण, जल-संरक्षण,
हरियाली में ढूंढें पथ-निर्माण।
पर्यावरण की रक्षा में जो जुटे,
वे संगठन प्रकृति से जुड़े।

🔸 अर्थ:
संगठन केवल मानव समाज नहीं, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी सक्रिय भूमिका निभाते हैं।

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🙏 सप्तम चरण
तो आज प्रण लें हम सभी,
बनें समाज का सारथी कभी।
संगठन नहीं हैं दूर कहीं,
हर दिल में है एक अलख सही।

🔸 अर्थ:
हर व्यक्ति किसी संगठन का हिस्सा बनकर समाज को बेहतर बना सकता है। सेवा भावना सबमें होती है।

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✨ निष्कर्ष:
"संगठन वह दीपक हैं, जो अंधेरे में राह दिखाते हैं।
वे नायक हैं बिना ताज के, जो सेवा को अपना धर्म मानते हैं।"

💡

"सेवा, समर्पण और सच्चाई – यही है संगठनों की सच्ची परछाई।"

🎨 प्रतीक और इमोजी:
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--अतुल परब
--दिनांक-15.05.2025-गुरुवार.
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