संतोषी माता और 'धार्मिक अनुष्ठान' का प्रमुख सांस्कृतिक महत्व-हिंदी कविता-

Started by Atul Kaviraje, July 05, 2025, 11:02:45 AM

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Atul Kaviraje

संतोषी माता और 'धार्मिक अनुष्ठान' का प्रमुख सांस्कृतिक महत्व-हिंदी कविता-

चरण 1:
संतोषी माँ, तुम हो दयालु,
शुक्रवार का व्रत अति पावन।
धैर्य और संतोष देती हो,
जीवन में शांति भर देती हो।
अर्थ: हे संतोषी माँ, आप दयालु हैं, और शुक्रवार का आपका व्रत बहुत पवित्र है। आप धैर्य और संतोष प्रदान करती हैं, और जीवन में शांति भर देती हैं।

चरण 2:
पारिवारिक एकता को बढ़ाए,
घर-घर में प्रेम की ज्योत जगाए।
नैतिक मूल्यों का संचार करे,
सही राह पर चलना सिखाए।
अर्थ: यह व्रत पारिवारिक एकता को बढ़ाता है, घर-घर में प्रेम की ज्योति जलाता है। यह नैतिक मूल्यों का संचार करता है और सही मार्ग पर चलना सिखाता है।

चरण 3:
महिलाएं शक्ति का अनुभव करें,
आत्मविश्वास से आगे बढ़ें।
आस्था का बीज मन में जड़े,
आध्यात्मिक पथ पर सदा बढ़ें।
अर्थ: महिलाएं शक्ति का अनुभव करें और आत्मविश्वास से आगे बढ़ें। आस्था का बीज मन में जमे, और वे हमेशा आध्यात्मिक मार्ग पर आगे बढ़ें।

चरण 4:
सामुदायिक बंधन मजबूत हो,
सामाजिक सौहार्द का सबूत हो।
संस्कृति का गौरव कायम हो,
परंपरा का हर पल मान हो।
अर्थ: सामुदायिक बंधन मजबूत हों, और यह सामाजिक सौहार्द का सबूत हो। संस्कृति का गौरव कायम रहे, और परंपरा का हर पल सम्मान हो।

चरण 5:
सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह हो,
हर घर में खुशियों का विवाह हो।
मानसिक शांति का अनुभव हो,
जीवन में आशा का नव प्रभात हो।
अर्थ: सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह हो, और हर घर में खुशियों का आगमन हो। मानसिक शांति का अनुभव हो, और जीवन में आशा का नया सवेरा हो।

चरण 6:
त्याग और सादगी का महत्व समझे,
भौतिक इच्छाओं पर नियंत्रण रखें।
मनोकामनाएं पूर्ण हो जाएं,
विश्वास की शक्ति सदा जगाएं।
अर्थ: त्याग और सादगी का महत्व समझें, और भौतिक इच्छाओं पर नियंत्रण रखें। मनोकामनाएं पूरी हों, और विश्वास की शक्ति हमेशा जागृत रहे।

चरण 7:
हाथ में कलश, मुख पर मुस्कान,
तेरी भक्ति में मिलता है ज्ञान।
जय हो संतोषी माँ, महान,
जीवन को करती हो वरदान।
अर्थ: हाथ में कलश लिए, मुख पर मुस्कान वाली माँ, आपकी भक्ति में ज्ञान मिलता है। हे महान संतोषी माँ, आपकी जय हो, आप जीवन को वरदान बनाती हैं।

कविता का सार (Emoji सारंश):
धैर्य 🧘�♀️😊, संतोषी माता 🙏🌸, पारिवारिक एकता 👨�👩�👧�👦💖, नैतिक मूल्य 😇🌟, महिला सशक्तिकरण 👩�👧�👦💪, आध्यात्मिक विकास 🕉�🙏, सामुदायिक बंधन 🤝🌸, सांस्कृतिक विरासत 📜🎨, सकारात्मकता ✨🕊�, त्याग और सादगी 🌿🍚, मनोकामना पूर्ति 💫.

संतोषी माता का व्रत और उनसे जुड़े धार्मिक अनुष्ठान भारतीय समाज में गहरे सांस्कृतिक मूल्यों को बढ़ावा देते हैं, जैसे धैर्य, संतोष, पारिवारिक एकता और नैतिक आचरण। यह एक ऐसा अनुष्ठान है जो न केवल व्यक्तिगत आध्यात्मिक प्रगति में सहायक है, बल्कि समाज को भी एक सूत्र में पिरोता है।

--अतुल परब
--दिनांक-04.07.2025-शुक्रवार.
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