क्षीरदान - दिव्य दान का महत्त्व-'क्षीरदान की धारा'-

Started by Atul Kaviraje, October 05, 2025, 10:21:28 PM

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Atul Kaviraje

क्षीरदान-

क्षीरदान - दिव्य दान का महत्त्व-

हिंदी कविता: 'क्षीरदान की धारा'-

थीम: क्षीरदान का महत्व, शनि प्रदोष का संयोग और पोषण का संदेश।

1. प्रथम चरण: क्षीरदान का महत्त्व
आज शनिवार, प्रदोष का दिन,
चलो करें क्षीरदान की बात।
जीवन की धारा है ये भिन्न,
बढ़ेगा पुण्य, मिलेगी सौगात।

हिंदी अर्थ: आज शनिवार को प्रदोष व्रत का दिन है, चलो हम दूध के दान (क्षीरदान) की बात करें। यह जीवन की एक विशेष धारा है, जिसे करने से पुण्य बढ़ता है और हमें उपहार (सौगात) मिलती है।

2. द्वितीय चरण: शिव और शनि की कृपा
शिव को प्रिय है दूध का अभिषेक,
शनि भी होते दान से शांत।
एक साथ कृपा मिले हमें एक,
मिटे मन का हर भ्रम या भ्रांत।

हिंदी अर्थ: भगवान शिव को दूध का अभिषेक बहुत प्रिय है, और शनिदेव भी दान करने से शांत होते हैं। जब हमें दोनों की कृपा एक साथ मिलती है, तो मन का हर संदेह और भ्रम दूर हो जाता है।

3. तृतीय चरण: पोषण का संदेश
दूध है शक्ति 🥛 और जीवन का सार,
पोषण दे बच्चों और वृद्धों को।
न हो कभी कुपोषण का भार,
दूर करे निर्धन के कष्टों को।

हिंदी अर्थ: दूध शक्ति और जीवन का सार है, जो बच्चों और वृद्धों को पोषण देता है। इससे कुपोषण का बोझ कभी न पड़े, और यह गरीब लोगों के कष्टों को दूर करे।

4. चतुर्थ चरण: दान की विधि
निस्वार्थ भाव से दान जो करें,
पवित्र रहे मन का विचार।
पात्रों के पेट को जो भरें,
उसी में छिपा है सच्चा प्यार।

हिंदी अर्थ: जो निस्वार्थ भावना से दान करते हैं, उनके मन के विचार पवित्र रहते हैं। जो ज़रूरतमंदों के पेट भरते हैं, उसी कार्य में सच्चा प्रेम छिपा होता है।

5. पंचम चरण: गौमाता का आभार
दूध दिया हमें गौमाता 🐄 ने,
बना जीवन का आधार।
दान करो तुम कृतज्ञता से,
बढ़ेगा सुख, आएगी बहार।

हिंदी अर्थ: गौमाता ने हमें दूध दिया है, जिससे हमारा जीवन चला है। तुम कृतज्ञता (आभार) के साथ दान करो, जिससे सुख बढ़ेगा और खुशहाली आएगी।

6. षष्ठम चरण: चंद्र ग्रह का बल
चंद्रमा 🌙 का कारक है ये क्षीर,
शीतल करे मन की व्यथा।
मानसिक शांति हो धीर,
सुखद हो जीवन की कथा।

हिंदी अर्थ: यह दूध चंद्रमा का कारक है, जो मन की पीड़ा को शांत करता है। इससे मानसिक शांति बनी रहे, और जीवन की कहानी सुखद हो।

7. सप्तम चरण: सद्भाव की ज्योति
क्षीरदान से फैले सद्भाव ✨,
मिटे द्वेष, मन हो शांत।
जन-जन के मन में प्यार का भाव,
सदा ही रहे मंगल का प्रांत।

हिंदी अर्थ: दूध के दान से सद्भावना फैलती है, ईर्ष्या मिटती है और मन शांत होता है। हर व्यक्ति के मन में प्रेम का भाव हो, और हमेशा कल्याण का क्षेत्र बना रहे।

--अतुल परब
--दिनांक-04.10.2025-शनिवार.
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