II गणतंत्र दिवस II-कविता क्रमांक-34

Started by Atul Kaviraje, January 27, 2022, 01:16:00 AM

Previous topic - Next topic

Atul Kaviraje

                                          II गणतंत्र दिवस II
                                           कविता क्रमांक-34
                                        --------------------

मित्रो,

       कल बुधवार, दिनांक-२६ जानेवारी, २०२२ था .  इसी दिन, 26 जनवरी 1950 को भारत सरकार अधिनियम (एक्ट) (1935) को हटाकर भारत का संविधान लागू किया गया था. 26 जनवरी को मनाए जाने वाले गणतंत्र दिवस को 'स्वतंत्रता दिवस' के रूप में मनाया जाता है. मराठी कविताके मेरे सभी भाई-बहन, कवी-कवयित्रीयोको प्रजासत्ताक (गणतंत्र) दिवस की हार्दिक शुभकामनाये. आईए पढते है, गणतंत्र दिवस पर कविताए.

#9.हम अभी से क्या बताएं क्या हमारे दिल में है,
आके मकतल में यह कातिल कह रहा है बार बार,
क्या तमनाये शहादत भी किसी के दिल में है,

एक से करता नहीं क्यों दूसरा कुछ बातचीत
देखता हूँ मैं जिसे वो चुप तेरी महफिल में है,
एक शहीदे मुल्क मिल्लत तेरे कदमों पर निसारा,

तेरी कुर्बानी का चर्चा गैर की महफिल में है,
अब न अगले वल्वले हैं और अरमानों की भीड़
एक मिट जाने की हसरत अब दिले 'बिलस्मिल' में है।


--नरेंद्र  सिंग
------------

                    (साभार एवं सौजन्य-संदर्भ-हिंदी-बायो-ग्राफी.कॉम)
                   ---------------------------------------------


-----संकलन
-----श्री.अतुल एस.परब(अतुल कवीराजे)
-----दिनांक-27.01.2022-गुरुवार.