II होली II-होली के गाने-क्रमांक-2

Started by Atul Kaviraje, March 18, 2022, 02:13:02 PM

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Atul Kaviraje

                                             II होली II
                                            होली के गाने
                                              क्रमांक-2
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मित्रो,

      कल दिनांक-१७.०३.२०२२, गुरुवार था.  "होली एक ऐसा रंगबिरंगा त्योहार है, जिस हर धर्म के लोग पूरे उत्साह और मस्ती के साथ मनाते हैं। प्यार भरे रंगों से सजा यह पर्व हर धर्म, संप्रदाय, जाति के बंधन खोलकर भाई-चारे का संदेश देता है। ". हिंदी कविताके मेरे सभी भाई-बहन, कवी-कवयित्रीयोको होली के इस पावन पर्व की अनेक हार्दिक शुभकामनाये. आईए पढते है, कविताये,रचनाये,शायरी, राधा-कृष्ण शायरी, चित्रपट होली-गीत एवं अन्य.

                      जोगी जी धीरे धीरे, जोगीजी वाह जोगीजी –

जोगी जी धीरे धीरे, जोगीजी वाह जोगीजी
नदी के तीरे तीरे, जोगीजी वाह जोगीजी
जोगी जी कोई ढूँढे मूँगा कोई ढूँढे मोतिया
हम ढूँढे अपनी जोगनिया को,
जोगी जी ढूँढ के ला दो, जोगीजी वाह जोगीजी
मिला दो हमें मिला दो, जोगीजी वाह जोगीजी

फागुन आयो ओ मस्ती लायो
भरके मारे पिचकारी अरा र र र र रा
रंग लेके ओ जंग लेके
मारे (?) जोगी रातें जागी सारी अरा रररर रा
जोगी जी नींद ना आवे, जोगीजी वाह जोगीजी
सजन की याद सतावे, जोगीजी वाह जोगीजी
जोगी जी प्रेम का रोग लगा हमको कोई इसकी दवा जल्दी हो तो कहो
बुरी है ये बीमारी, जोगीजी वाह जोगीजी
लगे है दुनिया खारी, जोगीजी वाह जोगीजी


--संकलक-के.सूरज
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                     (साभार एवं सौजन्य-संदर्भ-लैरिकस करंच.कॉम)
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-----संकलन
-----श्री.अतुल एस.परब(अतुल कवीराजे)
-----दिनांक-18.03.2022-शुक्रवार.