लफ़्ज़ों का खेल-ज्वार भाटा-दाल-रोटी खाओ, प्रभु के गुण गाओ

Started by Atul Kaviraje, December 19, 2022, 10:21:57 PM

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Atul Kaviraje

                                    "लफ़्ज़ों का खेल"
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मित्रो,

     आज सुनते है, "लफ़्ज़ों का खेल" इस शीर्षक के अंतर्गत, "किशोर कुमार, लता मंगेशकर" की आवाज मे "ज्वार भाटा" फिल्म का गीत.

                          "दाल-रोटी खाओ, प्रभु के गुण गाओ"
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ये समझो और समझाओ, थोड़ी में मौज मनाओ
दाल-रोटी खाओ, प्रभु के गुण गाओ
अजी लालच में ना आओ, ना दिल का चैन गँवाओ
दाल-रोटी खाओ, प्रभु के गुण गाओ
ये समझो और...

तन पे लंगोटी, पेट में रोटी, सोने को एक खटिया
मतलब तो है नींद से, चाहे बढ़िया हो या घटिया
राधे-श्याम सीता-राम, राधे-श्याम सीता-राम
नफ़रत को दूर हटाओ और सबको गले लगाओ
दाल-रोटी खाओ...

चाँदी की थालीवाले को क्या भूख लगे हैं ज़्यादा
क्या भूख लगे हैं ज़्यादा
क्यों न खा लें फिर आपस में बाँट के आधा-आधा
बाँट के आधा-आधा
राधे-श्याम सीता-राम, राधे-श्याम सीता-राम
भूखे की भूख मिटाओ, दुनिया में नाम कमाओ
दाल-रोटी खाओ...

सब से सस्ती चीज़ है क्या
(बोलो बोलो)
चोरी, डाका, बेईमानी
तो फिर महँगी क्या होगी
(सोचो सोचो)
किसी की ख़ातिर क़ुर्बानी
छोटे को पास बिठाओ, भूले को राह दिखाओ
दाल-रोटी खाओ...

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दाल रोटी खाओ - Daal Roti Khaao
Movie/Album: ज्वार भाटा (1973)
Music By: लक्ष्मीकांत-प्यारेलाल
Lyrics By: राजेंद्र कृष्ण
Performed By:किशोर कुमार,लता मंगेशकर
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              (साभार एवं सौजन्य-हिंदी लैरिकस प्रतीक.ब्लॉगस्पॉट.कॉम)
                     (संदर्भ-Lyrics In Hindi-लफ़्ज़ों का खेल)
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-----संकलन
-----श्री.अतुल एस.परब(अतुल कवीराजे)
-----दिनांक-19.12.2022-सोमवार.