"सूर्यास्त के समय एक शांत झील का किनारा"

Started by Atul Kaviraje, December 13, 2024, 09:21:33 PM

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Atul Kaviraje

शुभ संध्या, शुक्रवार मुबारक हो

"सूर्यास्त के समय एक शांत झील का किनारा"

सूर्य की किरणें धीरे-धीरे खो जाती हैं,
आसमान में रंगों की महक फैल जाती है,
एक ठंडी सी हवा झील के किनारे चलने लगती है,
और धरती पर चुपचाप रात की परछाई फैलने लगती है।

झील का पानी शांत, मानो गहरी सोच में डूबा हो,
उसके साफ पानी में आसमान की रंगीनियां झलकती हो,
सूरज के जाने के बाद, धीरे-धीरे एक शांति छा जाती है,
सब कुछ थम सा जाता है, जैसे समय खुद रुक जाता है।

पानी की लहरें हल्के-हल्के थपेड़े मारती हैं,
हर लहर में एक नये ख्वाब की बात करती हैं,
कभी हल्की सी लहर, कभी गहरी, कभी कोमल,
झील का पानी हर इमोशन को धीरे-धीरे पकड़ता है।

किनारे पर खड़े हुए वृक्ष, जिनकी छायाएँ लंबी हो जाती हैं,
उनकी शाखें निहारती हैं हर बदलते रंग को,
पत्तियाँ धीरे-धीरे हवाओं में झूमती हैं,
और आकाश की ओर देखती हैं, जैसे कुछ छुपा हो उनहोंने।

सूर्य की अंतिम किरण धीरे-धीरे अपनी राह बदलती है,
आसमान को नारंगी और गुलाबी रंगों से रंग देती है,
रात का साम्राज्य अब धीरे-धीरे फैलने को तैयार है,
लेकिन सूर्यास्त का यह दृश्य, दिल में एक अनमोल सुख छोड़ जाता है।

एक नाव पर बैठे कुछ लोग, चुपचाप इस दृश्य को देखते हैं,
उनकी आँखों में शांति, दिल में कुछ खामोशी सी बसी है,
हर व्यक्ति अपने भीतर के विचारों में खो जाता है,
झील के पानी में जैसे हर एक विचार बिखर जाता है।

हवाओं में गहरी ठंडक और ताजगी फैलने लगती है,
और उस ठंडक में, जीवन की जटिलताएँ हल्की सी नज़र आती हैं,
कभी समय रुकता सा लगता है, और फिर एक गहरी शांति,
सूर्यास्त के इस पल में, जैसे हर दर्द और चिंता खो जाती है।

झील की शांत लहरें, सूर्यास्त के रंगों में रंगी हुई,
मानो यह पल एक आदर्श, एक प्रेम भरा एहसास हो,
जो दिल से दिल तक फैल जाए, और एक अलग सी उम्मीद दे जाए,
एक नई सुबह की, एक नए जीवन की।

अब अंधेरे का आकाश धीरे-धीरे फैलने लगता है,
चाँद की रोशनी पानी पर अपनी चादर फैलाती है,
झील का किनारा चुपचाप, जैसे दुनिया को अपनाता हो,
इस शांत माहौल में, एक विश्राम और शांति का आभास होता हो।

सूर्यास्त का यह दृश्य, जीवन के हर पल को फिर से याद दिलाता है,
कि हर अंधेरे के बाद एक नया प्रकाश आता है,
हर कठिनाई के बाद एक नया अवसर मिलता है,
और इस शांत झील के किनारे पर, हम समझते हैं,
कि जीवन हमेशा सुंदर और उम्मीद से भरा होता है।

तो इस पल को पकड़ लो, इस शांति में खो जाओ,
झील के पानी में इन रंगों को देखो, और इस प्यार को महसूस करो,
सूर्यास्त के समय यह शांत झील, एक उपहार है,
जो हमें सिखाता है कि हर चीज़ में एक अनमोल शांति और सौंदर्य है।

--अतुल परब
--दिनांक-13.12.2024-शुक्रवार.
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