🍃 राष्ट्रीय सार्वजनिक पार्क दिवस – विशेष कविता- 📅 तारीख: 09 मई 2025 -

Started by Atul Kaviraje, May 09, 2025, 10:52:01 PM

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Atul Kaviraje

🍃 राष्ट्रीय सार्वजनिक पार्क दिवस – विशेष कविता-
📅 तारीख: 09 मई 2025 | 🕊� दिन: शुक्रवार
🌳 विषय: "प्रकृति, शांति और सुकून का उत्सव – सार्वजनिक उद्यान दिवस"
✍️ संरचना: 07 चरण, प्रत्येक में 04 पंक्तियाँ, सरल तुकबंदी सहित
📖 प्रत्येक चरण के बाद – हिंदी अर्थ और इमोजी / प्रतीक

🌿 चरण 1 – हरियाली की गोद में
उद्यान की गोद में छुपा है सुख अपार,
पत्तों की सरसराहट जैसे कोई पुकार।
गुलाबों की खुशबू लेती हर दर्द उधार,
हरियाली में छिपा है जीवन का उपहार।

📖 अर्थ: पार्क की शांति, हरियाली और महक जीवन को नई ऊर्जा देती है।
🔰 प्रतीक: 🌳🌹🍃🎁

🌞 चरण 2 – ताजी हवा का जादू
ताजी हवा जब चेहरे को छू जाती,
तन-मन को एक नई ताजगी दे जाती।
हर सांस में घुलती है हरियाली की मिठास,
प्रकृति से जुड़ना होता है सबसे खास।

📖 अर्थ: ताजी हवा तन और मन को नया जीवन देती है।
🔰 प्रतीक: 💨🌬�🌼😊

🚶�♀️ चरण 3 – सैर का महत्व
चलो टहलें कुछ कदम, न मोबाइल न व्यस्तता,
हर पेड़ के नीचे मिलती है एक शांति की सत्ता।
कभी खुद से मिलो, कभी अपनों के संग,
पार्क में हर पल है मधुरता और रंग।

📖 अर्थ: पार्क में सैर करना आत्म-शांति और संबंधों की मिठास को बढ़ाता है।
🔰 प्रतीक: 🚶�♂️👣📵👪

🌼 चरण 4 – बच्चों की किलकारियाँ
झूलों की कतारें, हँसी की बहार,
बच्चों की किलकारियाँ करती सब पर वार।
उद्यान है उनका रणभूमि, खेलों का द्वार,
जहाँ बचपन करता है सपनों से प्यार।

📖 अर्थ: पार्क बच्चों के लिए खेल और विकास का प्रमुख स्थान होता है।
🔰 प्रतीक: 🛝👧👦🎈

🐦 चरण 5 – पक्षियों की बातों में
फूलों से बातें करें मधुमक्खी और तितली,
चिड़ियाँ गाएं जैसे कोई मीठी कविता सजीली।
प्रकृति खुद बन जाती है संगीतकार,
जो हर ह्रदय को कर दे प्रसन्नाचार।

📖 अर्थ: पार्क में पक्षियों और कीटों की आवाजें प्रकृति का मधुर संगीत रचती हैं।
🔰 प्रतीक: 🐦🎶🦋🌺

☕ चरण 6 – सुकून की चाय और बैठकी
बेंच पर बैठो, लो एक कप चाय,
बिना किसी जल्दबाज़ी, बस खुद से बात हो जाए।
सार्वजनिक पार्क देता है ठहराव का पाठ,
जहाँ जीवन रुकता नहीं, बस बहता है साफ।

📖 अर्थ: पार्क ठहराव और आत्मचिंतन का सशक्त माध्यम बनता है।
🔰 प्रतीक: ☕🪑🧘�♂️🕊�

🌏 चरण 7 – धरती माँ को प्रणाम
पार्क नहीं बस एक ज़मीन का टुकड़ा,
यह धरती माँ का है खुला झरोखा।
इस दिवस पर करें हम संकल्प खास,
हरियाली बचाना ही है असली प्रयास।

📖 अर्थ: सार्वजनिक उद्यान धरती माँ की गोद हैं, जिन्हें हमें सहेजकर रखना चाहिए।
🔰 प्रतीक: 🌍🌳🤲🛐

✨ संक्षिप्त अर्थ (Short Meaning):
राष्ट्रीय सार्वजनिक पार्क दिवस हमें प्रकृति से जुड़ने, आत्मचिंतन, और जीवन की सरल खुशियों को अपनाने की प्रेरणा देता है। यह दिन याद दिलाता है कि शांति, स्वास्थ्य और सौंदर्य – तीनों पार्क में मिलते हैं।

🌳🌸 "चलिए, चलें प्रकृति की ओर – जहां जीवन है शांत और दिल से जोर।" 🚶�♀️💚

--अतुल परब
--दिनांक-09.05.2025-शुक्रवार.
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