3 अगस्त 2025, रविवार: तिशा ब'अव (Tisha B'Av) का महत्व-

Started by Atul Kaviraje, August 04, 2025, 10:46:21 AM

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Atul Kaviraje

तिषाबी आव-ज्यू-

3 अगस्त 2025, रविवार: तिशा ब'अव (Tisha B'Av) का महत्व-

आज, 3 अगस्त 2025, रविवार का दिन है। यह यहूदी कैलेंडर के अनुसार तिशा ब'अव (Tisha B'Av) का दिन है, जिसे "अव माह की नौवीं तारीख" भी कहते हैं। यह यहूदी इतिहास में हुई कई त्रासदियों और विनाश की घटनाओं का स्मरण दिवस है। यह उपवास और शोक का दिन है, जो आत्मनिरीक्षण और आध्यात्मिक जागृति पर केंद्रित है। आइए, इस दिन के महत्व और इसके भक्तिपूर्ण विवेचन को विस्तार से समझते हैं।

तिशा ब'अव का महत्व और विस्तृत विवेचन (10 प्रमुख बिंदु)

1. शोक और उपवास का दिन 🙏
तिशा ब'अव यहूदी धर्म में सबसे गंभीर उपवास दिनों में से एक है। यह सूर्योदय से सूर्यास्त तक पूर्ण उपवास का दिन होता है, जिसमें भोजन, पानी और अन्य शारीरिक सुखों का त्याग किया जाता है। इसका उद्देश्य गहन शोक और पश्चाताप व्यक्त करना है। 😔

2. प्रथम मंदिर का विनाश 🔥
इस दिन की सबसे महत्वपूर्ण घटना जेरुसलम में प्रथम मंदिर (सुलेमान का मंदिर) का विनाश है, जो बाबुलियों द्वारा 586 ईसा पूर्व में हुआ था। यह घटना यहूदी लोगों के लिए एक बड़ी त्रासदी थी, जिसने उनकी धार्मिक और राष्ट्रीय पहचान को गहरा आघात पहुँचाया। 🏛�💔

3. द्वितीय मंदिर का विनाश 🏛�
तिशा ब'अव को द्वितीय मंदिर के विनाश के दिन के रूप में भी मनाया जाता है, जिसे रोमन साम्राज्य ने 70 ईस्वी में नष्ट कर दिया था। इस विनाश ने यहूदी लोगों के लिए निर्वासन और फैलाव के एक नए युग की शुरुआत की। 🌍

4. बार कोखबा विद्रोह का दमन ⚔️
रोमन साम्राज्य के खिलाफ बार कोखबा विद्रोह (135 ईस्वी) का अंतिम दमन भी तिशा ब'अव पर हुआ था। इस हार के बाद, रोमन लोगों ने जेरुसलम को पूरी तरह से नष्ट कर दिया और यहूदियों को वहां प्रवेश करने से मना कर दिया। 🚫

5. यहूदियों का निष्कासन 🚶�♂️
इतिहास में कई बार यहूदियों को विभिन्न देशों से निष्कासित किया गया, जिनमें से कुछ घटनाएं तिशा ब'अव के आसपास हुईं। स्पेन से यहूदियों का निष्कासन (1492) और इंग्लैंड से निष्कासन भी इस दिन से जुड़ा है।

6. विलाप और प्रार्थना 📖
इस दिन आराधनालयों में विलाप की पुस्तक (Book of Lamentations) का पाठ किया जाता है, जो जेरुसलम के विनाश का वर्णन करती है। विशेष प्रार्थनाएं और भजन भी गाए जाते हैं जो समुदाय की पीड़ा और आशा को दर्शाते हैं। 😢🎶

7. आत्मनिरीक्षण और पश्चाताप 🤔
तिशा ब'अव केवल बाहरी शोक का दिन नहीं है, बल्कि आंतरिक आत्मनिरीक्षण और पश्चाताप का भी दिन है। यह यहूदी लोगों को उनके ऐतिहासिक पापों और "निराधार घृणा" पर विचार करने का अवसर देता है, जिसे मंदिर के विनाश का कारण माना जाता है। 🧘�♂️

8. मोशीच (मसीहा) की आशा 🌟
त्रासदियों के बावजूद, तिशा ब'अव भविष्य में मोशीच (मसीहा) के आगमन और मंदिर के पुनर्निर्माण की आशा का दिन भी है। यह माना जाता है कि मोशीच इसी दिन पैदा होंगे और यहूदी लोगों को मुक्ति दिलाएंगे। ✨

9. सामुदायिक एकजुटता 🤝
यह दिन यहूदी समुदाय को अपनी साझा विरासत, संघर्षों और आशाओं को याद करने के लिए एकजुट करता है। यह एकजुटता और एक दूसरे के प्रति सहानुभूति का प्रतीक है। ❤️

10. सीखने और बढ़ने का अवसर 🌱
तिशा ब'अव को केवल दुख के रूप में नहीं देखा जाता है, बल्कि यह सीखने और आध्यात्मिक रूप से बढ़ने का एक अवसर भी है। यह सिखाता है कि अतीत की गलतियों से सीखा जा सकता है और भविष्य के लिए एक मजबूत समुदाय का निर्माण किया जा सकता है।

--संकलन
--अतुल परब
--दिनांक-03.08.2025-रविवार.
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