हिंदी कविता: धरती का खजाना-🌍💰☀️⛏️🌐💍🤫💯

Started by Atul Kaviraje, August 13, 2025, 05:21:03 PM

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Atul Kaviraje

पृथ्वी के केंद्र 🌍 में इतना सोना 💰 है कि अगर उसे पूरी सतह पर फैला दिया जाए, तो उसकी एक 45 सेंटीमीटर (लगभग 1.5 फीट) मोटी परत बन सकती है?

हिंदी कविता: धरती का खजाना-

चरण 1:
नीचे धरती के, गहरे अंदर,
छिपा है एक अद्भुत समंदर।
लोहे, निकल के साथ मिला,
सोना वहाँ अनगिनत फूला।
अर्थ: यह चरण पृथ्वी के केंद्र में छिपे हुए सोने के विशाल भंडार का वर्णन करता है, जो लोहे और निकल के साथ मिला हुआ है।
🖼�: 🌍

चरण 2:
लाखों-करोड़ों टन का भार,
सोना वहाँ है बेहिसाब।
इतना है कि कर दे परत,
पूरी धरती को सोने की मूरत।
अर्थ: इसमें बताया गया है कि सोने की मात्रा इतनी अधिक है कि वह पूरी धरती को ढक सकती है, जिससे वह सोने की मूर्ति जैसी लगेगी।
🖼�: 💰

चरण 3:
गहराई है इतनी अधिक,
कि पहुँच पाना है मुश्किल।
सूरज जैसी गर्मी है वहाँ,
कैसे जाएँ हम वहाँ?
अर्थ: यह पृथ्वी के कोर की गहराई और अत्यधिक तापमान का वर्णन करता है, जिससे वहाँ तक पहुँचना असंभव है।
🖼�: ☀️⛏️

चरण 4:
गुरुत्वाकर्षण ने खींचा था,
जब पृथ्वी का जन्म हुआ था।
भारी तत्व चले गए नीचे,
हल्के रहे ऊपर के हिस्से।
अर्थ: यह बताता है कि कैसे गुरुत्वाकर्षण के कारण भारी तत्व, जैसे सोना, पृथ्वी के केंद्र में चले गए।
🖼�: 🌐

चरण 5:
तुम हो एक दुर्लभ धातु,
गहनों और विज्ञान का साधु।
पर यह सच है कि तुम,
हो धरती के सबसे बड़े खजाने।
अर्थ: यह सोने के महत्व को बताता है, कि वह सिर्फ गहनों के लिए ही नहीं, बल्कि विज्ञान के लिए भी महत्वपूर्ण है, और वह धरती का सबसे बड़ा खजाना है।
🖼�: 💍🔬

चरण 6:
अब जब भी देखोगे सोना,
याद रखना यह अनोखा कोना।
धरती के गर्भ का रहस्य,
कितना है विशाल, कितना है भव्य।
अर्थ: यह कविता का निष्कर्ष है, जो लोगों को सोने को देखते समय पृथ्वी के अंदर छिपे इस रहस्य को याद रखने के लिए कहता है।
🖼�: 🤫

चरण 7:
हे धरती, तुम हो अद्भुत,
तुम्हारा खजाना है सबसे अद्भुत।
तुम हो जीवन का आधार,
तुम पर है ज्ञान का विस्तार।
अर्थ: यह पूरी कविता का सार है, जो धरती की अद्भुत प्रकृति और उसके अंदर छिपे खजाने पर प्रकाश डालता है।
🖼�: 💯✨

इमोजी सारांश: 🌍💰☀️⛏️🌐💍🤫💯
 
--अतुल परब
--दिनांक-13.08.2025-बुधवार.
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