संतोषी माता की पूजा और आध्यात्मिक साधकों के लिए इसके लाभ-🙏🌸🚫🍋🍬🧘‍♀️🕊️🧠💪

Started by Atul Kaviraje, September 20, 2025, 05:43:52 PM

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Atul Kaviraje

संतोषी माता की पूजा और आध्यात्मिक साधकों के लिए इसके लाभ-

संतोषी माता पर एक सुंदर कविता-

चरण 1:
जय संतोषी माँ, तेरा नाम है प्यारा,
तेरी पूजा से, हर मन को मिले सहारा।
तू संतोष की देवी, तू ही है कल्याणी,
तेरी कृपा से, जीवन में आए खुशहाली।

अर्थ: हे संतोषी माँ, आपका नाम बहुत प्यारा है। आपकी पूजा से हर मन को सहारा मिलता है। आप संतोष की देवी और कल्याणी हैं। आपकी कृपा से जीवन में खुशहाली आती है। 🙏🌸

चरण 2:
शुक्रवार का व्रत, तेरी कथा सुनाए,
खट्टे को त्यागकर, मीठा अपनाए।
गुड़ और चना, तेरा प्रसाद है प्यारा,
जीवन में लाए, ये सुख का किनारा।

अर्थ: शुक्रवार का व्रत आपकी कथा सुनाता है। खट्टा त्यागकर हम मीठा अपनाते हैं। गुड़ और चना आपका प्यारा प्रसाद है, जो जीवन में सुख लाता है। 🚫🍋🍬

चरण 3:
तू सिखाती है माँ, लालच को छोड़ो,
संतोष के धागे से, जीवन को जोड़ो।
सच्ची खुशी, है मन की शांति में,
ये मिलती है बस, तेरी ही भक्ति में।

अर्थ: हे माँ, आप हमें सिखाती हैं कि लालच को छोड़ना चाहिए। जीवन को संतोष के धागे से जोड़ना चाहिए। सच्ची खुशी मन की शांति में है, और यह सिर्फ आपकी भक्ति में मिलती है। 🧘�♀️🕊�

चरण 4:
जब मन हो व्याकुल, और हो कोई दुःख,
तेरे मंत्र का जाप, दे मन को सुख।
तेरी पूजा से मिले, आंतरिक शक्ति,
तू ही है माँ, मेरी सच्ची भक्ति।

अर्थ: जब मन परेशान और दुखी हो, तो आपके मंत्र का जाप मन को सुख देता है। आपकी पूजा से हमें आंतरिक शक्ति मिलती है। हे माँ, आप ही मेरी सच्ची भक्ति हैं। 🧠💪

चरण 5:
धन और वैभव, तेरा है एक प्रसाद,
पर सबसे बड़ा है, तेरा आशीर्वाद।
जो मन को दे शांति, और आत्मा को सुकून,
ये ही है माँ, तेरा असली वरदान।

अर्थ: धन और वैभव आपका एक प्रसाद है, लेकिन आपका आशीर्वाद सबसे बड़ा है। जो मन को शांति और आत्मा को सुकून देता है, वही आपका असली वरदान है। 💰💖

चरण 6:
साधना का मार्ग, तू हमें दिखाती है,
अहंकार और मोह से, तू हमें बचाती है।
तेरे चरणों में, हम पाते हैं शरण,
जीवन का हर कदम, हो सफल हर क्षण।

अर्थ: आप हमें साधना का मार्ग दिखाती हैं। आप हमें अहंकार और मोह से बचाती हैं। आपके चरणों में हमें शरण मिलती है, और जीवन का हर कदम हर क्षण सफल होता है। 🌟

चरण 7:
हे संतोषी माँ, ये वंदन स्वीकार करो,
सबके जीवन में, संतोष तुम भर दो।
तेरी कृपा से, हर घर में हो उजाला,
जय संतोषी माँ, हर मन बोले जयमाला।

अर्थ: हे संतोषी माँ, हमारा यह वंदन स्वीकार करें। आप सबके जीवन में संतोष भर दें। आपकी कृपा से हर घर में उजाला हो। जय संतोषी माँ, हर मन यह जयमाला बोले। 🙏🌈

कविता सार: 🙏🌸🚫🍋🍬🧘�♀️🕊�🧠💪💰💖🌟🌈

--अतुल परब
--दिनांक-19.09.2025-शुक्रवार.
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