श्री गुरु देव दत्त: त्रिदेवों का समन्वय, आदिगुरु और धार्मिक एकता के प्रतीक।-🕉️

Started by Atul Kaviraje, October 10, 2025, 11:58:38 AM

Previous topic - Next topic

Atul Kaviraje

श्री गुरु देव दत्त: त्रिदेवों का समन्वय, आदिगुरु और धार्मिक एकता के प्रतीक।-

हिंदी कविता: दत्त गुरु का एकता गान-
🕉�🧘�♂️🐕�🦺🐄

चरण (Stanza)   कविता (Poem)   चरण का हिंदी अर्थ (Meaning)

I   दत्तात्रेय हैं त्रिमूर्ति का सार, ब्रह्मा, विष्णु, शिव का एक आधार। तीन मुखों से एकता का गान, करते हैं दूर हर भेद-अभिमान।   
हिंदी अर्थ: भगवान दत्तात्रेय त्रिदेवों का सार हैं, जो ब्रह्मा, विष्णु और महेश का एकमात्र आधार हैं। उनके तीन मुख एकता का गीत गाते हैं और हर तरह के भेदभाव व घमंड को दूर करते हैं।   

II   गुरु-तत्व का हैं साक्षात प्रतीक, शैव, वैष्णव को देते एक सीख। नाथपंथी भी करते हैं उपासना, मिटती है उनसे हर संकीर्ण भावना।   
हिंदी अर्थ: वे गुरु-तत्व का प्रत्यक्ष स्वरूप हैं, जो शैव और वैष्णव दोनों को एक ही शिक्षा देते हैं। नाथ संप्रदाय के लोग भी उनकी पूजा करते हैं, जिससे हर तरह की छोटी सोच या संकीर्णता समाप्त हो जाती है।   

III   चौबीस गुरुओं से ज्ञान लिया, जगत को सच्चा पाठ यह दिया। हर जीव, हर वस्तु में ईश्वर-कला, सीखो प्रकृति से, यही गुरु की चला।   
हिंदी अर्थ: उन्होंने चौबीस गुरुओं से ज्ञान प्राप्त किया और संसार को यह सच्चा सबक दिया कि हर जीव और वस्तु में ईश्वर की कला है। प्रकृति से सीखो, यही गुरु का मार्ग है।   

IV   चार श्वान हैं वेदों का प्रतीक, सभी ज्ञान का लक्ष्य केवल एक। माता पृथ्वी गौ माता संग, करुणा का भरते जीवन में रंग।   
हिंदी अर्थ: उनके साथ के चार कुत्ते चार वेदों के प्रतीक हैं, जिसका अर्थ है कि सभी ज्ञान का उद्देश्य केवल एक है। पृथ्वी माता (गाय) के साथ रहकर, वे जीवन में करुणा का रंग भरते हैं।   

V   अवधूत हैं, वैराग्य का तेज, नहीं मानते कर्मकांड का क्रेज। सिर्फ प्रेम से ही होते प्रसन्न, भक्ति मार्ग से मिटाते हर क्लेश अन्न।   
हिंदी अर्थ: वे अवधूत हैं, वैराग्य से परिपूर्ण हैं, जो कर्मकांड के दिखावे को नहीं मानते। वे केवल सच्चे प्रेम से ही खुश होते हैं, और भक्ति के मार्ग से भक्तों के सारे कष्ट दूर करते हैं।   

VI   जाति, धर्म का न कोई बंधन, राजा, असुर, योगी करते वंदन। गिरनार में समन्वय का धाम, जहाँ हर पंथ ने लिया दत्त नाम।   
हिंदी अर्थ: उनकी भक्ति में जाति और धर्म का कोई बंधन नहीं है। राजा, असुर और योगी सभी उन्हें प्रणाम करते हैं। गिरनार उनका समन्वय का पवित्र धाम है, जहाँ हर संप्रदाय ने उनका नाम लिया है।   

VII   गुरुदेव दत्त का जयकारा हो, हर दिल में अब प्रेम का नारा हो। एकता का दीप जले हर ओर, यही है उनका जीवन-सत्य कठोर।   
हिंदी अर्थ: गुरुदेव दत्त की जय हो। हर हृदय में अब प्रेम का नारा होना चाहिए। चारों ओर एकता का दीपक जलना चाहिए, क्योंकि यही उनका अटल जीवन-सत्य है।   
 
--अतुल परब
--दिनांक-09.10.2025-गुरुवार.
===========================================